मंगलवार, 20 नवंबर 2018

सबसे कमउम्र में मंत्री बनने वाली सुषमा स्वराज की जानें पूरी कहानी

सुषमा को बदलावों से कभी डर नहीं लगा, बल्कि उनके सहज स्वभाव में ही चुनौतियां स्वीकारना था. यही कारण है कि कर्नाटक में अपने चुनाव अभियानों के दौरान वे कन्नड़ में भाषण दिया करती थीं.


EmoticonEmoticon